Ab kya maangun khuda se, tu hi bata..

Ab kya maangun khuda se, tu hi bata..

Ab kya maangun khuda se,tu hi bata..kya chood gayi tu mere hisse main,tu hi bata.. kuch adhure sapne aur tujhe saath le aaya tha seher main,kaun hai iss sehar main mera,kiske sahare ab guzarun zindegi,tu hi bata.. aisa kya gunha kiya tha maine,jo itni badi saza de...
Nani, kaunsi nagar main tu jaane wali hai

Nani, kaunsi nagar main tu jaane wali hai

एक दिया जल रहा है, चारो तरफ अँधेरा है, नजाने कौनसी नगर में नानी तू जाने वाली है, कोई सर झुकाये बैठा है, कोई आंसू बहाये बैठा है, कोई तेरे लिए बिस्तर बांध रहा है, नजाने कौनसी नगर में नानी तू जाने वाली है, अँधेरा बढ़ता जा रहा है, तू चुपचाप चादर लपेटे सोई है, अकेली घरसे...
Nani: एक सांझ, एक सुबह थी तू,

Nani: एक सांझ, एक सुबह थी तू,

एक सांझ, एक सुबह थी तू,एक पोटली भरी कहानी थी तू,गावं की गलिओं की धुल,और दो पहर की धुप थी तू,बचपन की यादों को अपने साथ ले गयी है तू,चौखट पे पोहंच के जब किसीसे पूछता हूँ,कहाँ है तू,भीगी हुई पलकों में दो बूँद आंसू बन के बह जाती है तू,रातों की गलिओं में लोरिओं की गूँज बन...